जिला चरखी दादरी

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Haryana CET

जिला चरखी दादरी

  • 28 Jun, 2025
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जिला चरखी दादरी :- हरियाणा का ऐतिहासिक और औद्योगिक गहना

हरियाणा का 22वां और सबसे नया जिला चरखी दादरी, ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और ग्रामीण परिवेश से समृद्ध एक तेज़ी से उभरता हुआ क्षेत्र है। यह जिला 1 दिसंबर 2016 को भिवानी जिले से अलग करके बनाया गया। अपने समृद्ध ऐतिहासिक महत्व, वीरता, कृषि पर आधारित अर्थव्यवस्था और जाट संस्कृति के गढ़ के रूप में चरखी दादरी ने बहुत कम समय में पहचान बना ली है।

चरखी दादरी

भौगोलिक स्थिति और सीमाएं

  • अक्षांश और देशांतर: 28.60°N, 76.27°E
  • क्षेत्रफल: लगभग 1,682 वर्ग किमी
  • सीमाएँ:
  • उत्तर में रोहतक और झज्जर
  • दक्षिण में महेन्द्रगढ़
  • पूर्व में रेवाड़ी
  • पश्चिम में भिवानी

ऐतिहासिक पृष्ठभूमि

चरखी दादरी का इतिहास मुगल, मराठा और अंग्रेजी शासन से जुड़ा रहा है। इसका नाम दो भागों से बना है – ‘चरखी’ (एक ऐतिहासिक कस्बा) और ‘दादरी’ (जिसे राजा ददर ने बसाया था)। स्वतंत्रता संग्राम में भी इस क्षेत्र का योगदान रहा है।

ऐतिहासिक विशेषताएं:

  • तोपों और किलों का इतिहास इस क्षेत्र में विद्यमान है।
  • दादरी क्षेत्र में कई राजपूत और जाट रियासतें रही हैं।
  • 1996 में चरखी दादरी विमान दुर्घटना (दुनिया की सबसे घातक हवाई टक्कर) ने इसे अंतरराष्ट्रीय पटल पर लाया।

प्रशासनिक संरचना

उपमंडल (Sub-Divisions):

  • चरखी दादरी
  • बाढड़ा

विकास खंड (Blocks):

  • चरखी दादरी
  • बाढड़ा

जिला मुख्यालय: चरखी दादरी
विधानसभा क्षेत्र: चरखी दादरी, बाढड़ा
लोकसभा क्षेत्र: भिवानी-महेन्द्रगढ़

जनसंख्या और सामाजिक संरचना

  • कुल जनसंख्या (2011 अनुमान): लगभग 5 लाख
  • लिंग अनुपात: 884 महिलाएं प्रति 1000 पुरुष
  • साक्षरता दर: 72%
  • प्रमुख भाषाएं: हरियाणवी, हिंदी
  • प्रमुख जातियाँ: जाट, ब्राह्मण, सैनी, दलित, बनिया

कृषि और ग्रामीण जीवन

  • चरखी दादरी की अर्थव्यवस्था मुख्यतः कृषि और पशुपालन पर आधारित है।

    मुख्य फसलें:

    • गेहूं

    • सरसों

    • बाजरा

    • चना

    • जौ

    मुख्य सिंचाई स्रोत:

    • ट्यूबवेल

    • वर्षा जल संचयन

    • सीमित नहर प्रणाली

    दुग्ध उत्पादन और भैंस पालन भी यहाँ के ग्रामीण जीवन की अहम विशेषता है।

उद्योग और व्यापार

हालाँकि चरखी दादरी में अभी बड़े उद्योग विकसित नहीं हुए हैं, लेकिन यह सीमेंट उद्योग और पत्थर खनन के लिए प्रसिद्ध है।

प्रमुख उद्योग:

  • Ultra Tech Cement Plant (गांव तितौली)
  • पत्थर क्रशिंग यूनिट्स
  • कृषि यंत्र और ट्रैक्टर पार्ट्स निर्माण
  • लोकल ट्रेडिंग और अनाज मंडियाँ

शिक्षा और संस्थान

चरखी दादरी में शैक्षणिक संस्थानों की संख्या धीरे-धीरे बढ़ रही है और यहाँ सरकारी एवं निजी कॉलेजों की उपलब्धता है।

प्रमुख शिक्षण संस्थान:

  • Govt. PG College, चरखी दादरी
  • Women’s College, बाढड़ा
  • Polytechnic College
  • सैकड़ों सरकारी व निजी विद्यालय
  • ITI केंद्र

स्वास्थ्य सेवाएं

  • सिविल अस्पताल, चरखी दादरी
  • CHC/PHC बाढड़ा और अन्य गाँवों में
  • 108 एंबुलेंस सेवा
  • जन औषधि केंद्र
  • निजी अस्पताल – Sharma Hospital, Gaur Hospital आदि

धार्मिक और पर्यटन स्थल

प्रमुख धार्मिक स्थल:

  • श्री हनुमान मंदिर (चरखी)
  • बाबा रामथल आश्रम (सांसरू)
  • बाबा श्री गोपाल मंदिर (बाढड़ा)
  • दादरी का शिव मंदिर
  • गांवों में स्थित जाहरवीर गोगा मंदिर

परिवहन व्यवस्था

रेल मार्ग:

  • चरखी दादरी रेलवे स्टेशन
  • सीधी ट्रेनें दिल्ली, जयपुर, भिवानी, हिसार के लिए
  • बाढड़ा स्टेशन (अल्प दूरी रेल संपर्क)

सड़क मार्ग:

  • NH-148B (दिल्ली-बीकानेर मार्ग)
  • राज्य परिवहन की नियमित बस सेवाएं
  • निजी बस और जीप सेवाएं सभी गांवों से उपलब्ध

निकटतम हवाई अड्डा:

  • दिल्ली IGI एयरपोर्ट – लगभग 110 किमी
  • हिसार हवाई अड्डा (विकासाधीन)

जिले की प्रमुख विशेषताएं

  • हरियाणा का नवीनतम जिला (2016)
  • वायु दुर्घटना 1996 – वैश्विक इतिहास में दर्ज
  • उपजाऊ कृषि क्षेत्र एवं मजबूत ग्रामीण ढांचा
  • UltraTech जैसे बड़े सीमेंट प्लांट की उपस्थिति
  • पारंपरिक वीरता, खेल, एवं सेना में योगदान देने वाला क्षेत्र
  • जाट बहुल जनसंख्या और लोकसंस्कृति का संरक्षण

🔚 निष्कर्ष

चरखी दादरी जिला, हरियाणा की नवप्रवर्तित जिलों की सूची में होने के बावजूद तेज़ी से विकास की दिशा में अग्रसर है। इसकी कृषि प्रधान जीवनशैली, सांस्कृतिक विरासत, और सैनिक परंपरा इसे अन्य जिलों से अलग पहचान दिलाती है। भविष्य में यहां के युवाओं की शिक्षा, खेल और तकनीकी क्षेत्र में भागीदारी इसे हरियाणा के अग्रणी जिलों की श्रेणी में शामिल कर सकती है।

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